हरियाणा के सोनू ने एक एकड़ मे कमाए 3 लाख
बागवानी फसलों की खेती किसानों के लिए एक ऐसा माध्यम बन सकती है, जिससे उनकी आमदनी में बढ़ोतरी हो और खेती का परंपरागत ढांचा भी आधुनिक हो सकता है। हरियाणा के रोहतक जिले के चिड़ी गांव के रहने वाले सोनू कुमार इसका एक बेहतरीन उदाहरण हैं। 12वीं पास सोनू पिछले आठ वर्षों से बागवानी फसलों की खेती कर रहे हैं और अपनी कड़ी मेहनत और सूझ-बूझ के दम पर लाखों की कमाई कर रहे हैं।
सोनू कुमार खासतौर पर भिंडी की खेती करते हैं, जो उन्हें अच्छी आमदनी देती है। उन्होंने इस साल मई की शुरुआत में एक एकड़ जमीन पर भिंडी की फसल लगाई थी। लगभग दो महीने के भीतर, उन्होंने भिंडी का उत्पादन शुरू कर दिया, जो नवंबर के अंत तक चलता रहेगा। सोनू के अनुसार, भिंडी की फसल लगाने का यह उनका दूसरा अनुभव था। इससे पहले उन्होंने 2.5 एकड़ जमीन पर भिंडी की फसल उगाई थी, जिसने उन्हें भारी मुनाफा दिया।
अब, उन्होंने उस जमीन पर धान की फसल लगाई है, जिसकी कटाई अगले महीने होगी। इसके बाद सोनू फिर से घीया, खीरा और भिंडी की फसल लगाएंगे। उनके अनुसार, वे साल में तीन फसलें लेते हैं, जो उनकी आमदनी को तीन गुना बढ़ा देती हैं।
भिंडी की फसल यानि की मुनाफा
सोनू कुमार की सबसे बड़ी उपलब्धि यह है कि उन्हें भिंडी की फसल बेचने में कोई परेशानी नहीं होती। रोहतक मंडी में भिंडी के खरीदारों की अच्छी खासी संख्या रहती है, और फसल हाथों-हाथ बिक जाती है। एक एकड़ में भिंडी की खेती से सोनू लगभग 3 लाख रुपये की कमाई करते हैं। इसका श्रेय वह अपने अनुभव और हरियाणा बागवानी विभाग की मदद को देते हैं, जिन्होंने समय-समय पर उनकी सहायता की है।
सोनू कुमार का कहना है कि किसानों को बागवानी विभाग की योजनाओं का भरपूर फायदा उठाना चाहिए। सरकार की ओर से कई प्रकार की योजनाएं चलाई जाती हैं, जो किसानों की आय बढ़ाने के लिए विशेष रूप से बनाई गई हैं। इन योजनाओं का सही तरीके से उपयोग करके किसान अपनी आमदनी में वृद्धि कर सकते हैं।
सोनू के मुताबिक, किसानों को पारंपरिक खेती के साथ-साथ बागवानी की तरफ भी ध्यान देना चाहिए, क्योंकि यह फसलें तेजी से बढ़ती हैं और अधिक मुनाफा देती हैं। इसके अलावा, यह फसलें मौसम के अनुकूल भी होती हैं और कम समय में तैयार हो जाती हैं।
भिंडी की बुवाई का तरीका
भिंडी की खेती भारत के विभिन्न हिस्सों में बड़े पैमाने पर की जाती है, और अगर इसे सही तरीके से किया जाए तो किसान अच्छी पैदावार के साथ-साथ बेहतर मुनाफा भी कमा सकते हैं। भिंडी एक ऐसी फसल है, जिसकी मांग बाजार में हर सीजन में बनी रहती है। इसलिए इसके उत्पादन के साथ साथ किसानों की आय भी सुनिश्चित रहती है। आइए जानते हैं कि भिंडी की बुवाई किस प्रकार करनी चाहिए ताकि बेहतर उपज हासिल हो सके।
भिंडी की बुवाई के लिए सही विधि का पालन करना बहुत जरूरी है, क्योंकि यह पौधों की वृद्धि और उपज को सीधा प्रभावित करती है। सबसे पहले खेत को अच्छी तरह से तैयार करें और उचित आकार में पट्टियों में बांट लें, ताकि सिंचाई करने में आसानी हो। भिंडी की कतार से कतार की दूरी 40 से 45 सेमी होनी चाहिए, ताकि पौधों को पर्याप्त जगह मिल सके और वे सही ढंग से विकसित हो सकें।
बीज को 3 सेमी से ज्यादा गहराई में नहीं बोना चाहिए, क्योंकि अधिक गहराई में बुवाई करने से बीज अंकुरित होने में दिक्कत होती है। बुवाई से पहले खेत में 15 से 20 टन गोबर की खाद डालना आवश्यक है, जो पौधों के लिए प्राकृतिक उर्वरक का काम करती है और उन्हें स्वस्थ रखने में मदद करती है। बुवाई के बाद, समय-समय पर निराई-गुड़ाई करते रहना चाहिए ताकि खेत में खरपतवार न बढ़े और पौधे पूरी तरह से पोषित हों।
भिंडी सेहत के लिए लाभकारी
भिंडी सिर्फ एक सामान्य सब्जी नहीं है, बल्कि यह स्वास्थ्य के लिए भी बहुत फायदेमंद है। इसमें ऐसे पोषक तत्व होते हैं, जो कई गंभीर बीमारियों से बचाव करने में मदद करते हैं। नियमित रूप से भिंडी खाने से कैंसर का खतरा कम होता है, और यह हृदय रोगों को भी दूर रखने में सहायक होती है। इसके अलावा, डायबिटीज के मरीजों के लिए भी भिंडी फायदेमंद मानी जाती है, क्योंकि यह शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद करती है।
भिंडी में आयरन की भरपूर मात्रा होती है, जो एनीमिया जैसी समस्याओं को दूर करने में सहायक होती है। यही कारण है कि इसे एक स्वास्थ्यवर्धक सब्जी के रूप में जाना जाता है, जो न केवल स्वाद में अच्छी होती है, बल्कि स्वास्थ्य के लिए भी वरदान साबित होती है।
भिंडी की खेती से मुनाफा
भिंडी की खेती से मुनाफा कमाना आसान है, बशर्ते कि इसे सही ढंग से किया जाए। एक एकड़ में भिंडी की खेती से किसान करीब 5 लाख रुपये तक की आमदनी कर सकते हैं। इसमें खेती की लागत निकालने के बाद भी लगभग 3.5 लाख रुपये की शुद्ध बचत होती है। भिंडी की मांग हर मंडी में बनी रहती है, और इसके भाव भी सीजन में अच्छे मिलते हैं। यही वजह है कि भिंडी की खेती किसानों के लिए मुनाफे का सौदा साबित होती है।
भिंडी की खेती के प्रमुख राज्य
भारत के कई राज्यों में भिंडी की खेती बड़े पैमाने पर की जाती है। झारखंड, मध्य प्रदेश, गुजरात, पंजाब, उत्तर प्रदेश, असम, महाराष्ट्र जैसे राज्य भिंडी उत्पादन के लिए प्रमुख माने जाते हैं। इसके अलावा, हरियाणा और राजस्थान में भी भिंडी की खेती ने पिछले कुछ वर्षों में काफी प्रगति की है। यहां के किसान अब पारंपरिक खेती से हटकर बागवानी की तरफ रुख कर रहे हैं और भिंडी जैसी फसलों से अच्छी कमाई कर रहे हैं।